



नई दिल्ली, फोर्ब्स द्वारा जारी की गई 2025 की सबसे शक्तिशाली देशों की रैंकिंग ने वैश्विक राजनीति और अर्थव्यवस्था में एक नई हलचल मचा दी है। इस बार भारत इस सूची से बाहर हो गया है, जो भारत की बढ़ती शक्ति और वैश्विक प्रभाव को देखते हुए एक बड़ा सवाल खड़ा करता है।
भारत की स्थिति में यह बदलाव कई लोगों के लिए चौंकाने वाला है, क्योंकि देश दुनिया की सबसे बड़ी आबादी, चौथी सबसे बड़ी सैन्य ताकत और पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के साथ एक महत्वपूर्ण वैश्विक खिलाड़ी है। लेकिन फोर्ब्स ने भारत को टॉप दस देशों की लिस्ट से बाहर रखा हैं।
फोर्ब्स की रैंकिंग पद्धति
फोर्ब्स के अनुसार, यह रैंकिंग यूएस न्यूज के द्वारा तैयार की गई ‘पावर सब-रैंकिंग’ पर आधारित है, जिसमें पांच प्रमुख विशेषताओं को समान रूप से महत्व दिया जाता है। ये विशेषताएँ किसी देश की शक्ति को प्रदर्शित करती हैं, और इनमें शामिल हैं:
1 .नेता – किसी देश का नेतृत्व और उसकी अंतरराष्ट्रीय छवि।
2 .आर्थिक प्रभाव – किसी देश की आर्थिक ताकत और वैश्विक आर्थिक गतिविधियों में उसका योगदान।
3 .राजनीतिक प्रभाव – किसी देश का वैश्विक राजनीतिक मंच पर प्रभाव और नीति निर्धारण में उसकी भूमिका।
4 .मजबूत अंतर्राष्ट्रीय गठबंधन – वैश्विक साझेदारियों और गठबंधनों में देश का स्थान और भूमिका।
5 .मजबूत सेना – किसी देश की सैन्य ताकत और उसकी रक्षा क्षमता।
इस रैंकिंग में प्रत्येक पैमाने को समान रूप से महत्वपूर्ण माना जाता है, और इन्हीं मापदंडों के आधार पर देशों को रैंक किया जाता है।
2025 की टॉप 10 शक्तिशाली देशों की लिस्ट?
1 .अमेरिका (USA) जीडीपी: 30.34 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 34.5 करोड़, क्षेत्र: उत्तरी अमेरिका
2 .चीन (China) जीडीपी: 19.53 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 141.9 करोड़, क्षेत्र: एशिया
3 .रूस (Russia) जीडीपी: 2.2 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 14.4 करोड़, क्षेत्र: यूरोप
4 .यूनाइटेड किंगडम (UK) जीडीपी: 3.73 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 6.91 करोड़, क्षेत्र: यूरोप
5 .जर्मनी (Germany) जीडीपी: 4.92 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 8.45 करोड़, क्षेत्र: यूरोप
6 .दक्षिण कोरिया (South Korea) जीडीपी: 1.95 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 5.17 करोड़, क्षेत्र: एशिया
7 .फ्रांस (France) जीडीपी: 3.28 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 6.65 करोड़, क्षेत्र: यूरोप
8 .जापान (Japan) जीडीपी: 4.39 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 12.37 करोड़, क्षेत्र: एशिया
9 .सऊदी अरब (Saudi Arabia) जीडीपी: 1.14 ट्रिलियन डॉलर, जनसंख्या: 3.39 करोड़, क्षेत्र: एशिया
10 .इजरायल (Israel) जीडीपी: 550.91 बिलियन डॉलर, जनसंख्या: 93.8 लाख, क्षेत्र: एशिया
भारत का बाहर होना: क्या इसका औचित्य है?
भारत की अनुपस्थिति इस रैंकिंग में कई सवाल उठाती है, खासकर इस तथ्य के मद्देनजर कि भारत की वैश्विक भूमिका काफी बढ़ चुकी है। भारत के पास दुनिया की सबसे बड़ी आबादी है, और इसके साथ ही यह सैन्य ताकत के मामले में चौथे नंबर पर है और वैश्विक अर्थव्यवस्था में पांचवें स्थान पर है। ऐसे में यह सवाल उठता है कि भारत को टॉप 10 से बाहर रखने का क्या कारण हो सकता है, खासकर जब देश की अंतरराष्ट्रीय राजनीति में बढ़ती हिस्सेदारी और सैन्य शक्तियों का ध्यान रखा जाता है।
हालांकि, फोर्ब्स की रैंकिंग में कई पहलू शामिल किए जाते हैं, जिनमें से कुछ को भारत पूरी तरह से पूरा नहीं कर पाया। उदाहरण के लिए, भारत का अंतर्राष्ट्रीय गठबंधन शायद उतना मजबूत नहीं है जितना कि अमेरिका या यूरोपीय देशों का है। इसके अतिरिक्त, भारत का राजनीतिक प्रभाव भी पश्चिमी देशों की तुलना में अपेक्षाकृत सीमित हो सकता है, भले ही उसका क्षेत्रीय प्रभाव और रणनीतिक साझेदारियाँ मजबूत हैं।